लखनऊ: उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री श्री अजय राय ने जारी बयान में कहा कि अग्निवीर से प्रथम शहीद अमृतपाल को सैनिक सम्मान न मिलने से नाराज वाराणसी एनएसयूआई द्वारा कल शांतिपूर्ण ढंग से किये जा रहे प्रदर्शन को रोकने के लिए भेलूपुर वाराणसी के एसीपी प्रवीण सिंह द्वारा दी गयी धमकी बेहद निंदनीय और आपत्तिजनक है। एक पुलिस अधिकारी द्वारा ‘‘खाल खिंचवा लूँगा’’ जैसी अहंकारी भाषा के लिए प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जिम्मेदार हैं। पुलिस अधिकारियों की ऐसी निरंकुशता के पीछे योगी जी की ठोंक दो की नीति ही है। पुलिस द्वारा अनेको बर्बरतापूर्ण कार्यवाहियों की घटनाएं आम होती जा रही हैं। उनके पीछे इसी मानसिकता के अधिकारी संलिप्त पाए जाते हैं।
प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि अमृतपाल अग्निवीर के पहले शहीद हैं। जिनको महज 19 वर्ष की आयु में शहादत मिली है। उनके पार्थिव शरीर को प्राइवेट एम्बुलेंस से घर भेजा गया था और मरणोपरांत शहीद का सम्मान भी उन्हें नही दिया गया था। यह बेहद अफसोसजनक और शर्मनाक घटना है। इससे आक्रोशित भारतीय राष्ट्रीय छात्र संगठन के पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता बीएचयू के सिंह द्वार पर शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन कर रहे थे उन्हें रोकने के लिए एसीपी भेलूपुर ने छात्रों की ‘‘खाल खिंचवा लेने’’ की धमकी दे रहे थे जिसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। यह लोकतंत्र में विरोध प्रदर्शन के अधिकार के खिलाफ है। उन्होंने कहा कि पुलिस के इस निरंकुश व्यवहार और अमर्यादित भाषा के लिये प्रदेश के मुखिया द्वारा पुलिस को दिया गया अनैतिक बल और गैर कानूनी अधिकार जिम्मेदार है।
श्री अजय राय ने कहा कि कांग्रेस का कार्यकर्ता ऐसी धमकियों और गैरक़ानूनी कृत्यों से डरने वाला नही है। जनहित विशेषकर युवाओं के हित के लिए शांतिपूर्ण लोकतांत्रिक विरोध जारी रखेगा। उन्होंने मुख्यमंत्री से माँग की है कि इस बेलगाम और अहंकारी एसीपी प्रवीण सिंह पर तत्काल रूप से सख्त कार्यवाही की जाए।