नई दिल्ली: आईसीडीएस-सीएएस (कॉमन एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर) को विशेष रूप से डिजाइन किया गया है ताकि सेवा डिलीवरी प्रणाली के साथ-साथ पोषण परिणामों के लिए रियल टाइम मॉनेटरिेंग (आरटीएम) की व्यवस्था की जा सके। आगाम पोषण अभियान टेक-थॉन के बारे में मीडिया से बातचीत करते हुए महिला और बाल विकास सचिव श्री राकेश श्रीवास्तव ने कहा कि कारगर निगरानी, समय पर यह कार्रवाई के जरिए यह सॉफ्वेयर पोषण परिणामों में सुधार लाता है और तथ्य आधारित निर्णयकारी उपाय है।
भारत सरकार का महिला और बाल विकास मंत्रालय पोषण अभियान के संचालन के लिए प्रौद्योगिकी साझेदारी पर एक दिवसीय सेमिनार का आयोजन करेगा। इसे पोषण अभियान के लिए टेक-थॉन कहा गया है। समग्र पोषण पर प्रधानमंत्री के विजन वाले पोषण अभियान पर सेमिनार नई दिल्ली में 28 जून, 2018 को प्रवासी भारतीय केंद्र में होगा। महिला और बाल विकास सचिव ने कहा कि इस सेमिनार का आयोजन पोषण अभियान को दिखाने और इस संबंध में वातावरण बनाने, विचारों का आदान-प्रदान करने तथा प्रौद्योगिकी समर्थन के लिए सहयोग और साझेदारी की संभावना तलाशने तथा पोषण की दिशा में जन आंदोलन प्रारंभ करने के लिए लाभार्थियों में कारगर व्यवहारिक परिवर्तन लाने के लिए किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि संमिलन और प्रौद्योगिकी उपयोग पोषण के दो स्तंभ हैं। यह अभियान अगले कुछ वर्षों में विभिन्न मानकों पर हासिल किए जाने वाले विशेष लक्ष्यों पर बल देता है। इससे पहले देश में शीर्ष स्तर पर पोषण को इतना महत्व नहीं दिया था।
महिला और बाल विकास सचिव ने कहा कि अभी अभियान के अंतर्गत 550 जिले कवर किए गए हैं। समग्र दृष्टिकोण सुनिश्चित करने के लिए 2020 तक चरणबद्ध तरीके से सभी 36 राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों तथा 718 जिलों को कवर किया जाएगा।
महिला और बाल विकास मंत्रालय के संयुक्त सचिव तथा पोषण अभियान के लिए मिशन निदेशक डॉ. राजेश कुमार ने आईसीडीएस-सीएएस के बारे में विस्तृत जानकारी दी। वर्ष 2020 तक इस एप्लीकेशन को 14 लाख आंगनवाडि़यों में लागू किया जाएगा और करीब 10 करोड़ लाभार्थियों पर इसका प्रभाव पड़ेगा। अब यह विश्व में सबसे बड़ा ई-पोषण तथा स्वास्थ्य कार्यक्रम है। जिसमें 7 राज्यों (मध्यप्रदेश, आंध्र प्रदेश, छत्तीसगढ़, बिहार, झारखंड, राजस्थान तथा उत्तर प्रदेश) में कर्मियों के साथ 1.1 लाख डाटा एंट्री उपकरण है जिससे 75 लाख से अधिक लाभार्थियों को सहायता मिलेगी।
पोषण अभियान अग्रणी कर्मियों यानी आंगनवाड़ी कर्मी तथा महिला निरीक्षक को स्मार्ट फोन उपलब्ध कराकर सशक्त बनाता है। कॉमन एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर (आईसीडीएस-सीएएस) विशेष रूप से विकसित किया गया है जो डाटा ग्रहण करने का कार्य सक्षम करता है। निर्धारित सेवा डिलीवरी सुनिश्चित करता है और जहां कही आवश्यक हो कार्रवाई के लिए तत्पर बनाता है। यह फिर सेक्टर, ब्लॉक, जिला, राज्य से राष्ट्रीय स्तर तक डैशबोर्ड के माध्यम से निरीक्षणकर्मियों को वास्तविक समय में निगरानी के लिए डाटा उपलब्ध कराता है।
माननीय प्रधानमंत्री ने 08 मार्च, 2018 को राजस्थान के झुंझुंनू में पोषण अभियान (राष्ट्रीय पोषण मिशन) का शुभारंभ किया था। यह कार्यक्रम टेक्नॉलोजी उपयोग के माध्यम से स्टंटिंग कुपोषण, एनीमिया तथा जन्म के समय बच्चों में कम वजन की समस्या को कम करने के प्रयास में सहायक है और किशोरियों, गर्भवती महिलाओं तथा स्तनपान कराने वाली माताओं पर फोकस करते हुए समग्र रूप से कुपोषण की समस्या का समाधान करता है। डीएवाई-एनआरएलएम स्वयं सहायता समूह एएनएम, कॉपरेटिव, स्वस्थ भारत प्रेरकों जैसे स्वयंसेवियों को मिलाकर मंत्रालय 11 करोड़ लोगों तक पहुंचने की योजना बना रहा है और इस तरह मिशन को जन आंदोलन बनाने की योजना बना रहा है।
सेमिनार में भारत सरकार के मंत्री, भारत सरकार तथा राज्य/केंद्रशासित प्रदेशों के नीति निर्माता, यूनिसेफ, विश्व बैंक, विश्व स्वास्थ्य संगठन, डब्ल्यूएफपी जैसे बहुपक्षीय सहयोगी संस्थानों के प्रतिनिधि, महिला और बाल विकास मंत्रालय के सहयोगी-टाटा ट्रस्ट, बिल और मिलिंडा गेट्स फाउंडेशन (बीएमजीएफ), परोपकारी निजी क्षेत्र तथा सिविल सोसायटी संगठनों के प्रतिनिधि भाग लेंगे। इसमें विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञ भाग लेंगे और प्रौद्योगिकी समर्थन के लिए सहयोग और साझेदारी पर प्रकाश डालेंगे।
सेमिनार में महिला और बाल विकास मंत्री श्रीमती मेनका गांधी तथा महिला और बाल विकास राज्य मंत्री डॉ वीरेन्द्र कुमार उपस्थित रहेंगे। नीति आयोग के उपाध्यक्ष सेमिनार का उद्घाटन करेंगे और पोषण अभियान के जन आंदोलन के दिशा निर्देशों को लॉंच करेंगे। मिलजुलकर काम करने वाले केंद्रीय मंत्रालयों के सचिव टेक्नॉलोजी पर विचार विमर्श के लिए उपस्थित होंगे और पोषण अभियान की संपूर्ण जानकारी देंगे। राज्यों के महिला और बाल विकास/ सामाजिक न्याय विभागों के सचिव, आईसीडीएस/पोषण अभियान के प्रभारी निदेशक राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों के नोडल अधिकारी भी उपस्थित होंगे।
प्रवासी भारतीय केंद्र की गैलरी में टेक्नॉलोजी तथा पेाषण अभियान पर प्रदर्शनी भी आयोजित की जाएगी।
सेमिनार में लगभग 300 लोग भाग लेंगे।
पोषण अभियान के बारे में अधिक जानकारी के लिए कृपया http://www.icds-wcd.nic.in/nnm/home.htm पर जाएं।