केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री श्री जे. पी. नड्डा ने वेक्टर जनित बीमारियों (डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया) के निवारण एवं इन पर नियंत्रण के लिए मंत्रालय की तैयारियों की समीक्षा हेतु आज यहां आयोजित की गई उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। बैठक के दौरान श्री नड्डा ने राज्यों से आसपास के क्षेत्रों एवं अपने पड़ोस में वेक्टर जनित बीमारियों के निवारण एवं इन पर नियंत्रण के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए आक्रामक आईईसी अभियान शुरू करने को कहा।
सचिव (स्वास्थ्य) श्री सी. के. मिश्रा, सचिव (डीएचआर) एवं डीजी (आईसीएमआर) डॉ. सौम्या स्वामीनाथन, डीजीएचएस डॉ. (प्रो.) जगदीश प्रसाद और केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय, राष्ट्रीय वेक्टर जनित बीमारी नियंत्रण कार्यक्रम (एनवीबीडीसीपी) और राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केन्द्र (एनसीडीसी) से जुड़े अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण भी इस बैठक में उपस्थित थे। इसके अलावा केन्द्र सरकार के अस्पतालों के निदेशक/एमएस भी इस बैठक में मौजूद थे।
इस बारे में वास्तविक स्थिति का जायजा लेने के दौरान श्री नड्डा को स्वास्थ्य मंत्रालय की तैयारियों के बारे में जानकारी दी गई और इसके साथ ही उन्हें यह सूचित किया गया कि रोग निवारण एवं नियंत्रण और चिकित्सीय प्रबंधन के लिए तकनीकी दिशा-निर्देश तैयार किए गए हैं तथा इन पर अमल के लिए राज्यों के साथ इन्हें साझा किया गया है। मंत्रालय ने राज्यों के साथ भी समीक्षा बैठक की है और जनवरी में ही समस्त राज्यों को 13 एडवायजरी भेज दी गई हैं, ताकि वेक्टर जनित बीमारियों का सीजन शुरू होने से पहले राज्यों की तैयारियों को बेहतर किया जा सके। स्वास्थ्य मंत्री को यह भी जानकारी दी गई कि मंत्रालय ने राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों से डेंगू को सूचनात्मक रोग घोषित करने का आग्रह किया है, ताकि इस बारे में जानकारी देने की व्यवस्था को बेहतर किया जा सके और इसके साथ ही प्रभावित क्षेत्रों में निवारणकारी उपाय किए जा सकें। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री के मार्गदर्शन में भारत सरकार ने इन बीमारियों को नियंत्रण में रखने के उद्देश्य से प्रिंट एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के जरिये अनेक जागरूकता कार्यक्रम शुरू किए हैं और इसके साथ ही कई विज्ञापन भी जारी किए हैं। इसके अलावा, आम आदमी को इस बारे में जागरूक करने के उद्देश्य से 16 मई, 2017 को राष्ट्रीय डेंगू दिवस के रूप में आयोजित किया गया।
श्री नड्डा ने कहा कि केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय डेंगू एवं चिकनगुनिया से निपटने के अपने प्रयासों को मजबूत करने के उद्देश्य से निगरानी और नैदानिक किट के रूप में दिल्ली सहित विभिन्न राज्यों को समस्त लॉजिस्टिक एवं तकनीकी सहायता पहले ही मुहैया करा चुका है। श्री नड्डा ने कहा कि इन रोगों के निवारण के लिए समुदाय की भागीदारी एवं सशक्तिकरण अत्यंत जरूरी है। श्री नड्डा ने सभी हितधारकों से आक्रामक जागरूकता अभियान शुरू करने का आग्रह किया है, ताकि लोगों को अपने-अपने क्षेत्रों में आवश्यक निवारणकारी कदम उठाने के बारे में पूरी जानकारी मिल सके।
स्वास्थ्य मंत्री ने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिया कि वे वास्तविक स्थिति के साथ-साथ इस दिशा में हो रही तैयारियों का जायजा लेने के लिए राज्यों और विभिन्न अस्पतालों का नियमित रूप से निरीक्षणात्मक दौरा करें तथा स्वास्थ्य क्षेत्र से जुड़े प्राधिकरणों का मौके पर ही तकनीकी मार्गदर्शन करें। उन्होंने अधिकारियों को सतर्क रहने और दिल्ली सहित उत्तरी राज्यों में स्थिति पर करीबी नजर रखने का निर्देश दिया, क्योंकि इन राज्यों में मानसून के आगमन के साथ ही वेक्टर जनित बीमारियां बढ़ जाती हैं। मंत्री महोदय ने सचिव (स्वास्थ्य) से वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये इस दिशा में राज्यों द्वारा की जा रही तैयारियों की समीक्षा करने को भी कहा है।